महाराष्ट्र की राजधानी मुंबई में आज एक बड़ा हंगामा हुआ। मंत्रालय की इमारत में आदिवासी आंदोलन (Adivasi Andolan) के दौरान कुछ ऐसा हुआ, जिसने सबको हैरान कर दिया। आइए जानते हैं कि आखिर क्या हुआ और क्यों हुआ।
आदिवासी विधायकों का विरोध
आज सुबह से ही मंत्रालय में कुछ अलग माहौल था। कई आदिवासी आंदोलन (Adivasi Andolan) के समर्थक विधायक वहां जमा हुए थे। वे अपनी मांगों को लेकर सरकार से बात करना चाहते थे। लेकिन जब उनकी बात नहीं सुनी गई, तो उन्होंने अपना गुस्सा दिखाना शुरू कर दिया। इन विधायकों में सबसे ज्यादा चर्चा में रहे नरहरी झिरवल। वे महाराष्ट्र विधानसभा के उपाध्यक्ष हैं। यानी वे एक बहुत ही अहम पद पर हैं। लेकिन आज वे भी आंदोलन में शामिल हो गए। उन्होंने कुछ ऐसा किया, जिसने सबको चौंका दिया।
मंत्रालय से कूदने की कोशिश
नरहरी झिरवल ने मंत्रालय की तीसरी मंजिल से कूदने की कोशिश की। एक इतने बड़े पद पर बैठे व्यक्ति ने ऐसा कदम उठाया। लेकिन अच्छी बात यह रही कि वे सुरक्षा जाली में फंस गए। इस तरह एक बड़ा हादसा टल गया। झिरवल अकेले नहीं थे। उनके साथ कुछ और आदिवासी विधायक भी थे। वे भी कूदने की कोशिश में थे। लेकिन सुरक्षा जाली ने सबकी जान बचा ली।
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आंदोलन का कारण
अब सवाल यह है कि आखिर इतना बड़ा कदम क्यों उठाया गया? इसके पीछे की वजह है धनगर समाज को मिलने वाला आरक्षण। महाराष्ट्र सरकार ने धनगर समाज को ST यानी अनुसूचित जनजाति का दर्जा देने का फैसला किया है। लेकिन आदिवासी नेताओं को लगता है कि इससे उनके हक छिन जाएंगे। वे चाहते हैं कि सरकार अपना फैसला बदले। वे PESA कानून (Act) के तहत नौकरियों में आरक्षण की भी मांग कर रहे हैं।
सरकार की मुश्किल
इस पूरे मामले में सरकार की स्थिति बड़ी अजीब है। एक तरफ धनगर समाज है, जिसे ST का दर्जा चाहिए। दूसरी तरफ आदिवासी हैं, जो इसका विरोध कर रहे हैं। दोनों ही समाज महाराष्ट्र के लिए बहुत महत्वपूर्ण हैं। सरकार को ऐसा रास्ता निकालना होगा, जिससे दोनों पक्ष खुश रहें। यह आसान नहीं है, लेकिन जरूरी है। अगर ऐसा नहीं हुआ, तो आने वाले दिनों में और भी बड़े आंदोलन हो सकते हैं।
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